उत्तराखंड पंचायत चुनाव…आयोग ने इस वजह से रद्द किया नामांकन, हाईकोर्ट का बड़ा आदेश

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देहरादून। पंचायत चुनाव की सरगर्मी जोरों पर है। इस बीच बुधवार को हाईकोर्ट ने पंचायत चुनाव के दौरान टिहरी जिले की ग्राम प्रधान प्रत्याशी कुसुम कोठियाल के नामांकन रद्द करने के आदेश पर बुधवार को रोक लगा दी। कुसुम कोठियाल का नामांकन उनके घर में शौचालय न होने के आधार पर निरस्त किया गया था, जिसे उन्होंने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। मुख्य न्यायाधीश जी नरेंद्र व न्यायमूर्ति आलोक महरा की खण्डपीठ ने राज्य चुनाव आयोग को निर्देश दिए कि शीघ्र उनकी याचिका पर कार्रवाई करते हुए चुनाव चिन्ह जारी किया जाए।

सुनवाई के दौरान आयोग की ओर से बताया गया कि कुसुम कोठियाल का नामांकन पत्र भरा गया था और उसकी जांच भी की गई। जांच में पाया गया कि उनके नामांकन पत्र में उल्लिखित शपथपत्र सही नहीं था, इसलिए कमेटी ने नामांकन को रद्द किया था। हालांकि, याचिकाकर्ता ने इस फैसले का विरोध करते हुए कहा कि नियमों के अनुसार जरूरी नहीं कि शौचालय घर के अंदर ही हो। उनका शौचालय घर से डेढ़ सौ मीटर दूर है और इस आधार पर उनका नामांकन रद्द करना अनुचित है।

कुसुम कोठियाल ने याचिका में कहा कि वे ग्राम प्रधान पद के लिए चुनाव लड़ रही हैं, लेकिन चुनाव आयोग ने गलत तरीके से उनका नामांकन निरस्त कर दिया। उन्होंने हाईकोर्ट से अनुरोध किया था कि उनका नामांकन पुनः बहाल किया जाए, जिसे अदालत ने मंजूर कर लिया।

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