हत्यारी बहू : भाई को सुनाती थी अपनी व्यथा, फिर मिलकर सास को सुला दिया मौत की नींद

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देहरादून। लालतप्पड़ में सास की हत्या बहू ने ही एक लाख की सुपारी देकर कराई थी। हत्या को अंजाम देने के बाद आरोपी फरार हो गए थे। पुलिस ने मामले में चार लोगों की गिरफ्तारी की है। डोईवाला काेतवाली के लालतप्पड़ पुलिस चौकी क्षेत्र में बीते बुधवार की रात तीन लोगों ने कुलदीप कौर पत्नी हरजीत सिंह निवासी लालतप्पड़ की गला दबाकर हत्या कर दी थी।

पुलिस ने घटना को अंजाम देने वाले आवेश अंसारी उर्फ छोटू, सोनू और राहुल निवासी ग्राम बसेड़ी लक्सर हरिद्वार को बीती रात हरिद्वार बस अड्डे से गिरफ्तार कर लिया। प्रभारी निरीक्षक विनोद गुसाईं ने बताया कि आरोपियों ने पूछताछ में कुलदीप कौर की हत्या करना स्वीकार कर लिया है।

घर में ही किराये पर रहता है आरोपी

पूछताछ में आरोपी आवेश उर्फ छोटू ने बताया कि पिछले छह-सात माह से वह कुलदीप कौर के पुत्र जगदेव सिंह के घर में ही रह रहा है। उसने जगदेव की पत्नी ज्योति उर्फ डिंपी को अपनी धर्म बहन बनाया था। बताया कि मृतका कुलदीप कौर पुत्रवधू डिंपी को लगातार प्रताड़ित करती थी। कुलदीप कौर उसे भी परेशान करती थी।

ज्योति ने आवेश को सास कुलदीप कौर की हत्या के लिए एक लाख रुपये देना तय किया। वारदात को अंजाम देने के लिए ज्योति ने आरोपियों का सहयोग किया। कुलदीप कौर जब आंगन में सो रही थी तो उसने तकिया से अचेत होने तक मुंह दबाए रखा। कोतवाल ने बताया कि वारदात में शामिल आवेश अंसारी, सोनू और राहुल तीनों निवासी लक्सर हरिद्वार के अलावा मृतका की बहू ज्योति उर्फ डिंपी पत्नी जगदेव सिंह रेशममाजरी डोईवाला को गिरफ्तार कर मामले का खुलासा कर दिया है।

वारदात में षड्यंत्रकारी रही बहू

अपनी सास को मौत की नींद सुलाने के लिए मृतका कुलदीप कौर की पुत्रवधू ज्योति मुख्य षड्यंत्रकारी रही। पुलिस के अनुसार, अपने धर्म भाई को वह अपनी व्यथा से अवगत कराती थी। एक दिन उसने सास की हत्या के लिए रकम का ऑफर दिया तो आवेश तत्काल तैयार हो गया। इस काम के लिए उसने दो अन्य लोगों को भी शामिल कर लिया। सुनियोजित तरीके से घटना को अंजाम देकर वह फरार होते परिवार के ही लोगों की नजर उस पर पड़ गई और पुलिस ने महज कुछ घंटों में वारदात का खुलासा किया।

एक लाख की जगह मिली जेल

लालतप्पड़ में सास की हत्या मामले में आरोपी आवेश को सुपारी के एक लाख रुपये तो मिले नहीं पर उसे जेल जरूर मिल गई। आरोपी आवेश ने पुलिस को बताया कि अपने परिचितों को 10-10 हजार रुपये देने की बात कह वारदात में शामिल किया था। उसे रुपये अब तक नहीं मिले थे।

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